दुर्ग जिले के सभी शासकीय अस्पतालों में ऑक्सीजन बेड उपलब्ध है। हॉस्पिटल स्टाफ द्वारा किए जा रहे लगातार प्रयासों के चलते जिले में रिकवरी रेट तेजी से बढ़ा है। इसके चलते मरीज तेजी से डिस्चार्ज हो रहे हैं और ऑक्सीजन बेड उपलब्ध हो रहे हैं। होम आइसोलेशन कंट्रोल सेंटर में अधिकारी लगातार लोगों की ऑक्सीजन लेवल की मॉनिटरिंग कर रहे हैं। परिजनों और मरीजों को कहा गया है कि 94 से नीचे ऑक्सीजन का स्तर आते ही तुरंत हॉस्पिटल में एडमिशन एडमिट होने की कार्रवाई करें। सभी हॉस्पिटलों में ऑक्सीजन बेड उपलब्ध है ल। इसके साथ ही कोविड सस्पेक्टेड मरीजों के लिए भी आइसोलेशन बेड उपलब्ध हैं। उल्लेखनीय है कि जिला प्रशासन द्वारा ऑक्सीजन बेड की उपलब्धता की दिशा में लगातार कार्य किया गया है जिसके बूते जिले के मरीजों के लिए ऑक्सीजन बेड के किसी तरह की दिक्कत नहीं है।
जिला अस्पताल दुर्ग -28 बेड
कोविंड विंग
ऑक्सीजन बेड- 02 उपलब्ध
सुपेला हॉस्पिटल – 40 बेड
चंदूलाल चंद्राकर हॉस्पिटल -80 बेड
निकुम स्वास्थ्य केंद्र -14 बेड
उतई स्वास्थ्य केंद्र- 18 बेड
कुम्हारी स्वास्थ्य केंद्र-8 बेड
ऑक्सीजन बेड- 08 उपलब्ध
धमधा स्वास्थ्य केंद्र -11 बेड
ऑक्सीजन बेड- 04 उपलब्ध
डीसीएच शंकरा-
सिलेंडर सपोर्टेड ऑक्सीजन बेड-02
पाटन स्वास्थ्य केंद्र-
ऑक्सीजन बेड- 01 उपलब्ध
झीठ स्वास्थ्य केंद्र-
ऑक्सीजन बेड- 02 उपलब्ध
इन अस्पतालों में मरीजों के लिए इतने बेड है रिक्त।
ग्रामीण क्षेत्रों का सघन दौरा किया। यहां पर इन्होंने टेस्टिंग की मॉनिटरिंग की और कोरोना मरीजों के चिन्हांकन की समीक्षा की कलेक्टर ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में सर्वे के पश्चात कोरोना के लक्षण वाले मरीजों को ग्रामीणों को तुरंत टेस्टिंग सेंटर भेजा जाए। यहां पर टेस्ट के पश्चात उनका मेडिकल परीक्षण कर प्रोटकॉल के मुताबिक आगे की कार्रवाई की जाए । उन्होंने ग्रामीण क्षेत्रों में पल्स ऑक्सीमीटर के माध्यम से लोगों के ऑक्सीजन लेवल की हो रही जांच का निरीक्षण भी किया। उन्होंने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में शत-प्रतिशत ग्रामीणों का सर्वे आवश्यक है ताकि कोरोना के लक्षण वाले मरीजों की पहचान की जा सके। उन्होंने कहा कि क्वारन्टीन सेंटर में आवश्यक सुविधाएं सुनिश्चित हो। कलेक्टर ने ग्रामीण क्षेत्रों में व्यापक मुनादी के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि कोरोना के लक्षणों के संबंध में लोगों को लगातार जानकारी दी जाए तथा कोरोना के सर्दी खासी बुखार जैसे लक्षण मिलते ही नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र में परीक्षण कराने के निर्देश दिए।