झारखंड बीसीसीएल, धनबाद जिला प्रशासन व सीआइएसएफ के लाख प्रयास के बाद भी जिले में अवैध खनन रुकने का नाम नहीं ले रहा है। इसी का नतीजा है कि कहीं भी, कभी भी भू धंसान का खतरा बढ़ता जा रहा है। गुरुवार की सुबह एक बार फिर इसी अवैध खनन की भारी कीमत चुकानी पड़ी।
अवैध खनन के दौरान धंसी जमीन: गुरुवार की सुबह चांच विक्टोरिया क्षेत्र संख्या 12 के चिरकुंडा थाना अंतर्गत डुमरीजोड़ गांव के पास अवैध खनन के दौरान जमीन धंस गई। भू धंसान का दायरा 50 मीटर के क्षेत्र में है। हादसे में कई लोगों के दबे होने की भी सूचना मिल रही है। बताया जाता है कि चिरकुंडा थाना अंतर्गत चांच पंचायत के डुमरीजोड़-चांच लाइन पार में अचानक रेल लाइन का रास्ता तेज आवाज के साथ धंस गया। डुमरीजोड़ में लंबे समय से अवैध खनन चल रहा था। इसकी डोजरिंग बीसीसीएल प्रबंधन द्वारा कराई गई थी, लेकिन तस्करों कर ओर से लगातार खनन जारी था। इधर, गुरुवार की सुबह 8 बजे जोरदार आवाज के साथ जमीन धंस गई।
हाई टेंशन तार समेत बिजली का पोल भी इसकी चपेट में आ गया। इसके कारण नूतनग्राम, चांच, पतलाबाड़ी, बूट बाड़ी में बिजली आपूर्ति प्रभावित हुई है। वहीं सड़क धंसने से डुमरीजोड़, बाबू डंगाल, लाइन पार, बूट बाड़ी के लोगों के समक्ष नई समस्या उत्पन्न हो गई है। जानकारी हो कि नूतनग्राम से चांच पोटरी जाने वाली सड़क डुमरीजोड़ के पास एक वर्ष पूर्व भी धंस गई थी। उस वक्त ही कयास लगाया जा रहा था कि यह पूरा इलाका धंसान क्षेत्र बन गया है।
घटना के बाद लोगों में रोष व्याप्त है। ग्रामीण एवं स्थानीय लोग तस्करों की पहचान कर कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। मामले में बीसीसीएल सीवी एरिया के महाप्रबंधक एके दत्ता का कहना है कि भू-धंसान की सूचना प्रशासन से मिली है। उसमें ओबी डालने के लिए मशीन की मांग की गई है, जिसे जल्द उपलब्ध कराया जा रहा है। उन्होंने कहा कि उक्त जगह पर एक सप्ताह पहले ही भराई की गई थी। इस पर नजर रखना स्थानीय प्रशासन का काम था। फिलहाल प्रशासन उक्त जगह को मलबा डालकर ढंकने की तैयारी में है।
बताया जाता है कि यहां आधा दर्जनों लोग अवैध खनन कर कोयला निकासी का काम करते थे। खुफिया विभाग ने भी इन लोगों के नाम के साथ अवैध खनन की सूचना जिला प्रशासन को भी दी थी, लेकिन अब तक किसी तरह की ठोस कार्रवाई नहीं होने के कारण उन लोगों का मनोबल काफी बढ़ता गया और अवैध खनन जारी रहा। इसके कारण यह घटना घटी। मालूम हो कि डुमरीजोड़ के नीचे पुरानी चांच कोलियरी माइंस से कोयला खनन किया गया है। इस वजह से ऊपरी सतह पर ही कोयला होने के कारण लगातार अवैध कारोबारियों द्वारा अवैध तरीके से कोयला खनन कर बेचा जा रहा है।
पहले भी होते रहे हैं हादसे: मालूम हो कि अवैध खनन में पहले भी लोग अपनी जान गंवाते रहे हैं। अभी एक महीना पहले ही दहीबाड़ी और सी पैच में अवैध खनन के दौरान जमीन धंसने से कई लोगों की जान चली गई थी। जिला प्रशासन ने भी उस समय पांच मौतों की पुष्टि की थी। हादसे के बाद मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने मामले की जांच और अवैध खनन पर रोक लगाने का निर्देश दिया था, लेकिन हकीकत आज की घटना ने बयां कर दिया।