भागलपुर: भारत में औषधिय प्रणाली से उपचार पौराणिक कालो से होती आ रही है. इसमें वैद्य के द्वारा कई तरह की पत्तियों से जड़ी बूटी बनाया जाता था और उससे उपचार संभव हो पता था. लेकिन यह प्रणाली धीरे-धीरे विलुप्त होती नजर आ रही है. पर अभी भी आसपास में कई ऐसे पौधे हैं, जिससे आप अपना उपचार स्वयं कर सकते हैं. इसमें से ही एक है अरंडी का पौधा. इसके बीज से निकलने वाले तेल से कई फायदे हैं. जो आपको रोग मुक्त कर सकता है. आइए आयुर्वेदाचार्य से जानते हैं इसके फायदे.आयुर्वेदाचार्य ने बताया कि बिहार में अरंडी की खेती भी की जाती है. यह हर एक गली मोहल्ले में देखने को मिल जाएगा.
इसके बीज से लेकर पत्ती तक उपयोगी होते हैं. लेकिन इसे जंगली मानकर लोग इसके उपयोग को नहीं जानते हैं और नहीं करते हैं. आपको बता दें कि अरंडी के बीज का तेल निकालकर और उसे बाजार में अच्छे दामों पर बेचा जाता है. जिससे कई तरह के फायदे मिलते हैं. आयुर्वेदाचार्य ने बताया कि अरंडी का तेल आंखों के लिए फायदेमंद होता है, खांसी में इसका काम आता है, गठिया रोग में काम आता है, किडनी की सूजन, साइटिका, पाइल्स, शरीर पर मसाज के लिए भी लोग इसका उपयोग करते हैं. इसका तेल बालों के लिए भी काफी फायदेदायक होते हैं.
पत्ती के भी हैं कई फायदे
आयुर्वेदाचार्य ने बताया इसकी पत्ती पत्ती काफी उपयोगी होती है. जिन्हें दस्त की समस्या आ रही है. वह अगर अरंडी के पत्ते में नीम का पत्ता मिलाकर उसमें दो बूंद नींबू का रस डालकर पिए तो काफी फायदा मिलेगा. इतना ही नहीं पेट की कई तरह की समस्याओं को कम करने में यह मददगार साबित होता है.